वॉचमन की नौकरी में 160 रपये महीने के वेतन में किया काम आज 300 फिल्मो में रोल मिलने से बन गए दमदार एक्टर

सायाजी शिंदे वॉचमन की नौकरी में 160 रपये महीने के वेतन में किया काम आज 300 फिल्मो में रोल मिलने से दमदार एक्टर बन गए एक भारतीय फिल्म अभिनेता हैं, जोकि मुख्य तौर से मराठी, तेलुगु, तमिल, कन्नड़ा ,मलयालम और हिंदी सिनेमा में सक्रिय हैं। सायाजी ने हिंदी सिनेमा में कई लोकप्रिय किरदार किये हैं, वह एक्टिंग की दुनिया में वर्ष 1995 से सक्रिय है। वह अब तक फिल्मों में अभिनय कर चुके हैं, जिनमे जय महाराष्ट्र, लड़ाई संजू, जैकपॉट, मुझसे शादी करोगे आदि फिल्में शामिल हैं।जयपुर. रामगोपाल वर्मा की ‘शूल’ भला किसे याद नहीं होगी। इस फिल्म के हीरो मनोज बाजपेयी और विलेन सियाजी शिंदे का किरदार आज भी लोग भूले नहीं है। हालांकि, बहुत कम लोग यह बात जानते हैं कि फिल्म में खतरनाक सफेदपोश माफिया बच्चू यादव का रोल करने वाले सियाजी ने चौकीदारी का काम किया।

चौकीदार की नौकरी करता था ये बॉलीवुड एक्टर
चौकीदार की नौकरी करता था ये बॉलीवुड एक्टर(सायाजी शिंदे)

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चौकीदार की नौकरी करता था ये सायाजी शिंदे

राजस्थान के जयपुर में पहुंचे सियाजी ने अपने बारे में भास्कर को कई बातें बताई। और क्या बताया सियाजी ने बताया कि उन्होंने कभी शॉर्ट फिल्मों में काम नहीं किया।लेकिन इन फिल्मों में काम करने की इच्छा है। क्योंकि कम वक्त में बेहतरीन मैसेज देने का सटीक जरिया हैं ये फिल्में।मुझे वो दिन अच्छे से याद है, जब बैंक में लगातार 17 साल नौकरी करके मुंबई का रुख किया।उसी नौकरी के साथ मैंने एक्टिंग के शौक को पूरा करने के लिए ड्रामा करता रहा।

उसी नौकरी के साथ मैंने एक्टिंग के शौक को पूरा करने के लिए ड्रामा करता रहा।
उसी नौकरी के साथ मैंने एक्टिंग के शौक को पूरा करने के लिए ड्रामा करता रहा।

शौकिया करता था ड्रामा सियाजी के मुताबिक कभी नहीं सोचा था कि एक्टिंग करूंगा। क्योंकि ड्रामा तो सिर्फ मैं नौकरी के साथ शौकिया तौर पर करता था।पहली नौकरी के रूप में महाराष्ट्र गवर्नमेंट इरीगेशन डिपार्टमेंट में वॉचमैन का काम किया। जहां मुझे सिर्फ 165 रुपए मिलते थे।जब वॉचमैन था।

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किताबें पढ़ना और कविताएं सुनना हॉबी

सियाजी ने बताया किसान परिवार से ताल्लुक रखता हूं। पर्सनल लाइफ में पेड़ ज्यादा से ज्यादा लगाने पर जोर देता आया हूं।अब तक साल भर में 25000 हजार पेड़ लगाए हैं। देसी पेड़ लगाने का काफी शौक है।

देसी पेड़ लगाने का काफी शौक है।
देसी पेड़ लगाने का काफी शौक है।

बनावटी चीजें बिल्कुल पसंद नहीं। ज्यादा से ज्यादा पेड़ लगाने पर जोर दे रहा हूं। कविताएं सुनना और पढ़ना पसंद है।‘ए वेल बिगन इज हाफ डन एंड हेस्टी क्लाइम्बर्स हैव सडन फॉल’ कोट्स अपनी डायरी के पहले पेज पर लिख कर पहली बार मुंबई आया।

पहली बार मराठी प्ले में काम

फिलहाल तेलुगू फिल्म ब्रह्मोत्सव पर काम कर रहा हूं।सियाजी के बारे में ये बातें भी जानिएसियाजी का जन्म महाराष्ट्र के छोटे से गांव वेले काम्ठी में हुआ था।मराठी में बीए करने के बाद वे नौकरी करने लगे। जिसके बाद 1978 में उन्होंने पहली बार मराठी प्ले में काम किया उनकी पहली मराठी फिल्म ‘मां’ थी, जो 1995 में रिलीज हुई।1999 में रिलीज हुई ‘शूल’ से उन्होंने

उन्होंने पहली बार मराठी प्ले में काम किया
उन्होंने पहली बार मराठी प्ले में काम किया

सायाजी शिंदे बॉलीवुड में अपनी पहचाना बनाई इस फिल्म में उन्होंने एक सफ़ेदपोश ठेठ बिहारी माफिया की भूमिका निभाई थी।जिसके बाद उन्होंने ‘जोड़ी नंबर 1’ और ‘सरकार राज’ जैसी फिल्मों में भी काम किया।.हमारे इस आर्टिकल को पढ़ने के लिए आप सबका धन्यवाद और इस प्रकार की ओर भी रोचक खबरे जानने के लिए हमारी वेबसाइड Samchar buddy .com से जुड़े रहे।

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