बंजर धरती में भी फूंक दिए प्राण, 19 साल तक मेहनत करने के बाद खिल उठा खुशियों से जंगल, उगा चुके है 30 मिलियन से ज्यादा पेड़

अगर मजबूत इरादा हो, तो मुश्किल कुछ भी नहीं है। और यही रास्ते के द्वारा हम सफलता तक पहुंच सकते है। वो कहते है न कि अगर हिम्मत कर लो और ठान लो, तो मुश्किल कुछ भी नहीं है। और मजबूत होंसले के साथ बड़े से बड़ा पहाड़ भी तोडा जा सकता है। आपने वो दशरथ मांझी की कहानी तो ज़रूर सुनी होगी, जिसमे वो लगातार 22 साल तक मेहनत करके एक बड़े पहाड़ को भी तोड़ देता है। भले ही इसका कारण कुछ भी रहा हो, लेकिन यहाँ पर समझने वाली बात है, उनकी सही और पक्की ज़िद्द। जिसने उन्हें सफलता दे दी। ऐसा ही एक उदाहरण दिया है, तुर्की के रहने वाले हिकमेट काया ने जिन्होंने अपनी 19 साल मेहनत के दम पर बंजर धरती में भी प्राण फूंक दिए है। उन्होंने 19 साल तक लगातार मेहनत के बाद जंगल ही खड़ा कर दिया। आज वो खुद देश तुर्की के लिए ही नहीं, बल्कि दुनिया के लिए भी एक उदाहरण है।

, इस अनोखे काम को करने वाला व्यक्ति का नाम हिकमेट काया है।
, इस अनोखे काम को करने वाला व्यक्ति का नाम हिकमेट काया है।

हिकमेट काया है इस व्यक्ति का नाम

बता दे कि, इस अनोखे काम को करने वाला व्यक्ति का नाम हिकमेट काया है। और इन्होने ही ग्रामीणों की मदद से मिलकर मिलियन्स पौधे लगाये थे। और आज वो पौधे एक जंगल का रूप ले चुके है। प्रकृति का इतना प्यार सम्मान करने वाले लोग बहुत कम होते है। हिकमेट काया नाम के इस व्यक्ति ने अपने जीवन के लगभग 19 साल इस जंगल को ही संवारने में ही लगा दिए। और उनकी ही मेहनत के बल पर आज ये बंजर सी ज़मीन भर चुकी है। और सुन्दर लग रही है।

 हिकमेट की ही मेहनत के बल पर आज ये बंजर सी ज़मीन भर चुकी है।
हिकमेट की ही मेहनत के बल पर आज ये बंजर सी ज़मीन भर चुकी है।

सिनोप में की नौकरी भी की

हिकमेट काया ने 1978 में से 19 साल नौकरी भी की। और इस बीच उन्होंने वन प्रबंधक के रूप में भी ग्रामीणों के साथ काम किया। जिसके बाद उन्होंने जंगलो की अहमियत को समझा ,और उसकी महत्वता को समझकर उसके लिए प्रयास किये
उन्होंने अपने प्रयासों से इस नामुमकिन से लग रहे हे काम को भी मुमकिन करके दिखा दिया है। जो वाकई ही काबिले तारीफ़ है। और सराहना के लायक है। क्योकि इस कार्य के न सिर्फ बहुत सारा समय चाहिए, बल्कि समर्पण भी चाहिए।

हिकमेट ने ही ग्रामीणों की मदद से मिलकर मिलियन्स पौधे लगाये थे।
हिकमेट ने ही ग्रामीणों की मदद से मिलकर मिलियन्स पौधे लगाये थे।

इसे भी अवश्य पढ़े:-वकालत करके हासिल की डिग्री, लेकिन ट्रक ड्राइविंग करके बनायीं पहचान, और बन गयी पहली महिला ड्राइवर

नौकरी के दौरान भी किया काम

हिकमेट काया के लिए उनका ये काम एक मिशन जैसा रहा। और उन्होंने जब तक अपने नौकरी के 25 साल पूर्ण निष्ठा के साथ निभाये, उसी तरह से उन्होंने वन सुरक्षा के लिए भी कार्य किया। और उन्ही के प्रयासों का परिणाम है कि, इस बंजर धरती में भी पौधे उगने लगे। और ये हरी भरी हो गयी।

इसे भी अवश्य पढ़े:-लंदन से लौटी बेटी ने पापा के शौक को बदल दिया बिज़नेस में, पिता ने अचार बनाया, तो बेटी ने बना डाली उसी अचार से करोड़ो की 

ऐसे ही दिलचस्प किस्से जानने के लिए जुड़े रहिये  samachar buddy के साथ, और हमारे फेसबुक पेज को फॉलो करना न भूले

Join WhatsApp Channel
Join WhatsApp Join Telegram