अगर मनुष्य जीवन के हर चीज़ आसानी से मिल जाती, तो फिर फिर किसी चीज़ की चाहत क्यों रखते ? या फिर सपने ही क्यों देखते ? और ये बात सच है कि, संघर्ष से जीवन बहुत खूबसूरत बन जाता है। और संघर्ष और कठिन परिश्रम से भी सफलता के रंग गहरे हो जाते है। और कामयाबी भी खूबसूरत हो जाती है। और हमारे ही आसपास कई ऐसे लोग होते है। जिनसे हम सफलता के गुर सीख सकते है। और जीवन में आगे बढ़ने के बारे में सोच सकते है।और आज के इस लेख में हम बात करेंगे रितिका जिंदल की। जिन्होंने भी जीवन के बहुत ही मुश्किल दौर से गुजारा। और आगे बढ़कर साफलता हासिल है। रितिका जिंदल ने बहुत ही ज्यादा मेहनत करके ये सफलता पायी है। इन उन्होंने बहुत ही संघर्षपूर्ण जीवन जीया है। और तब जाकर ये सफलता हासिल की है। आज वो न सिर्फ खुद एक मिसाल है। बल्कि दुसरो क लिए भी एक मिसाल पेश कर रही है। क्योकि इतने कम समय में बहुत सी मुश्किलों का सामना बहुत ही कम समय में हासिल की है। उनके पिता को कैंसर था। जिसके चलते भी उनकी पढ़ाई के लिए ललक कम नहीं हुई है। और आज वे आईएएस अफसर बन गयी है।

पंजाब में जन्मी थी रितिका जिंदल
बता दे कि, रितिका जिन्दल पंजाब के एक बहुत ही साधारण से परिवार में जन्मी थी। और उन्होंने एक माध्यम परिवार की सारी मजबूरियां भी समझी थी। 12वीं तक की पढ़ाई अपने जन्मभूमि मोगा से ही की। उसके बाद उन्होंने आगे की पढाई के लिए दिल्ली जाने का फैसला लिया था। उसके बाद वहीँ से अपनी आगे की पढ़ाई पूरी की थी। उसी दौरान उनके मन में यूपीएसी का सपना भी कहीं न कहीं पल रहा था।

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शुरू कि यूपीएसी की तैयारी
ग्रेजुएशन के बाद ही रितिका न यूपीएसी की तैयारी शुरू कर दी थी। और उन्होंने मन से इसकी तैयारी भी की। और सारे काम के साथ साथ रितिका ने यूपीएसी की तैयारी की थी। और इस दौरान एक ऐसा समय भी आया कि, उनके पिता जी कैंसर से पीड़ित हो गए थे। लेकिन उस वक़्त भी रितिका ने सारी हिम्मत बनाये रखी थी। और दूसरे प्रयास में सफलता हासिल कर ही ली थी।

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